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बृजभूषण बोले-आरोप साबित हुए तो फांसी पर लटक जाऊंगा:कोर्ट को सबूत देने का समय आ गया; पहले साहबजादे को चुनाव जिता लूं

बृजभूषण बोले-आरोप साबित हुए तो फांसी पर लटक जाऊंगा:कोर्ट को सबूत देने का समय आ गया; पहले साहबजादे को चुनाव जिता लूं

गोंडा1 घंटे पहले
बृजभूषण सिंह ने शनिवार को कैसरगंज में मीडिया से बातचीत की।

भाजपा सांसद बृजभूषण शरण सिंह ने महिला पहलवानों के यौन शोषण के आरोपों को खारिज किया। शनिवार को गोंडा में कहा- मेरे ऊपर लगे आरोप झूठे हैं। अगर आरोप साबित हुए, तो मैं खुद फांसी पर लटक जाऊंगा। अब कोर्ट को सबूत देने का वक्त आ गया है। अभी चुनाव चल रहा है। मेरे साहबजादे (बेटा) चुनाव लड़ रहे हैं। चुनाव जीतने दीजिए। फिर आगे की रणनीति पर बात करूंगा।

शुक्रवार को दिल्ली की राऊज एवेन्यू कोर्ट ने 5 महिला पहलवानों से यौन शोषण के आरोप में बृजभूषण पर आरोप तय किए। कोर्ट ने कहा कि पुलिस की चार्जशीट में आरोप तय करने के लिए पर्याप्त सबूत हैं। कोर्ट ने एक महिला पहलवान की शिकायत खारिज कर दी। कोर्ट ने कुश्ती संघ के पूर्व सेक्रेटरी विनोद तोमर के खिलाफ भी आरोप तय करने के आदेश दिए हैं।

बृजभूषण शरण सिंह आज अपने समर्थकों से मुलाकात करते हुए।

बृजभूषण ने कहा- मुझ पर लगे सारे आरोप झूठे हैं। कोई गंभीर आरोप नहीं हैं। मैं इनका सामना करूंगा। यह बात मैं शुरू से ही कहता चला आ रहा हूं। अब कोर्ट की प्रक्रिया चल रही है। चार्जशीट लगी थी। इसके कुछ पार्ट को कोर्ट ने छोड़ दिया। कुछ पार्ट को एक्सेप्ट किया है। कोर्ट में जब जिरह होगी। बहस होगी। तब हम भी अपना पक्ष रखेंगे। सबूत रखेंगे।

बृजभूषण बोले- जिस दिन घटना हुई, उस दिन मैं देश में नहीं था
बृजभूषण सिंह ने कहा- यह जिस दिन की घटना है। उस दिन मैं कहां था वह सारे सबूत मेरे पास हैं। कोर्ट के सामने रखने का समय आ गया है। इसमें कोई नई बात नहीं है। इन आरोपों को मैं डेढ़ साल से झेल रहा हूं। मैं इसके खिलाफ केस लड़ूंगा। अब मेरे लिए दरवाजे खुल गए हैं।

हालांकि, बृजभूषण ने कोर्ट के सामने भी यह बात कही थी कि घटना के दिन वह देश से बाहर थे। लेकिन कोर्ट ने उसे खारिज कर दिया था।

18 अप्रैल को सुनवाई के लिए दिल्ली की राउज एवेन्यू कोर्ट पहुंचे थे बृजभूषण सिंह।

बृजभूषण पर आरोपों को लेकर कोर्ट ने क्या कहा
दिल्ली की कोर्ट ने बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ आरोप तय करते हुए कहा- 6 महिला पहलवानों में से 5 की शिकायतों में आरोप तय करने के लिए पर्याप्त सबूत हैं। कोर्ट ने एक महिला पहलवान की शिकायत खारिज कर दी।

कोर्ट ने बृजभूषण के खिलाफ धारा 354 (किसी महिला की गरिमा को ठेस पहुंचाने के इरादे से उस पर हमला या आपराधिक बल का इस्तेमाल करना), 354-ए (यौन उत्पीड़न) और धारा 506 (आपराधिक धमकी) के तहत आरोप तय किए हैं।

बृजभूषण को अब कोर्ट का ट्रायल फेस करना होगा। जिन धाराओं में उन पर आरोप तय हुए हैं। उनमें धारा-354 में अधिकतम 5, 354-A में अधिकतम 3 और 506 में अधिकतम 2 साल की सजा हो सकती है।

बृजभूषण के पास अब आगे क्या ऑप्शन हैं
सीनियर एडवोकेट रितेश यादव के मुताबिक, दिल्ली की राउज एवेन्यू कोर्ट ने बृजभूषण के खिलाफ जो आरोप तय किए हैं, उनके खिलाफ उनके पास ऊपरी अदालत में जाने का विकल्प है। आरोप तय होने का मतलब है कि बृजभूषण के खिलाफ वादी पक्ष और पुलिस की चार्जशीट में पर्याप्त सबूत हैं।

बृजभूषण के खिलाफ यौन शोषण का मुकदमा चलाया जाएगा। जो आरोप बृजभूषण पर लगे हैं उनके साक्ष्य पुलिस कोर्ट के सामने रखेगी, जबकि बृजभूषण अपने बचाव पक्ष के साक्ष्य रखेंगे। दोनों पक्षों को सुनने के बाद ही कोर्ट कोई फैसला सुनाएगी।

साक्षी मलिक बोलीं- आरोपी को सजा मिलने तक केस लड़ेंगे
बृजभूषण के खिलाफ आरोप तय होने के बाद शुक्रवार को पहलवान साक्षी मलिक ने कहा- यह हमारे लंबे संघर्ष की ओर एक कदम है। यह लड़ाई हमारे लिए नहीं बल्कि आने वाली पीढ़ियों के लिए थी। मैं अदालत के फैसले का स्वागत करती हूं। पहले हमसे सबूतों की कमी के कारण पूछताछ की गई थी लेकिन अब पर्याप्त सबूत हैं, हम तब तक केस लड़ेंगे जब तक आरोपी को सजा नहीं मिल जाती।

दिल्ली पुलिस ने 1500 पेज की दाखिल की थी चार्जशीट
दिल्ली पुलिस ने इस मामले में 15 जून 2023 को बृजभूषण के खिलाफ 1500 पेज की चार्जशीट दायर की थी। इसमें 44 गवाहों के बयान शामिल किए थे। ये गवाह 4 राज्यों के थे। इसमें पहलवान, रैफरी, कोच, साइकोथेरेपिस्ट और सपोर्टिंग स्टॉफ शामिल थे।

उनके खिलाफ धारा 354, 354-A, 354-D और 506 के तहत आरोप लगाए थे। इसी मामले पर पहली बार 18 जनवरी 2023 को रेसलर बजरंग पूनिया, साक्षी मलिक, विनेश फोगाट समेत 30 से ज्यादा पहलवानों ने दिल्ली के जंतर-मंतर पर प्रदर्शन किया था।

कोर्ट के आदेश पर दिल्ली पुलिस ने दर्ज की थी FIR
खेल मंत्रालय के दखल के बाद पहलवानों ने विरोध-प्रदर्शन खत्म कर दिया था। मामले में एक जांच कमेटी भी बनाई गई थी। हालांकि, अप्रैल 2023 में एक बार फिर पहलवानों ने प्रदर्शन शुरू करने के बाद मामले ने तूल पकड़ लिया। पहलवान मामले में FIR दर्ज कराने के लिए कोर्ट पहुंच गए थे। कोर्ट के आदेश पर ही दिल्ली पुलिस ने FIR दर्ज की थी।

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